VIDYA DEVI JI (विद्या देवी जी-55)
February 1, 2022AGNI KUND (अग्नि कुण्ड-53)
February 1, 2022
पता- यह कुण्ड मणिपर्वत से पूर्व दिशा में स्थित है।
शिलालेख- शिलालेख कुण्ड के पूर्वी तट पर लगा हुआ है।
किवदंती- अयोध्या महात्यम के अनुसार विद्याकुण्ड के दक्षिणी तट पर स्थित विद्या देवी के दर्शन से पूर्व इसी कुण्ड में स्नान करते हैं। इसी कारण इसका नाम भी विद्याकुण्ड पड़ा।
वर्तमान स्थिति- वर्तमान में कुण्ड का जल अत्यंत दूषित है। श्रद्धालु अब न तो इसमें स्नान करते हैं न आचमन करते हैं, मात्र जल का स्पर्श कर के चले जाते हैं।
स्थानीय लोगों की राय- स्थानीय जनों का कहना हैं कि अयोध्या नगर निगम में विद्याकुण्ड एक वार्ड है और वार्ड का नाम भी विद्याकुण्ड है, मगर फिर भी कुण्ड की स्थिति दयनीय बनी हुई है।
स्वटिप्पणी- स्थानीय प्रशासन को इस कुण्ड के स्वक्षता एवं रख रखाव की जिम्मेदारी वार्ड पार्षद को देनी चाहिए। जिससे कुण्ड को और इसके पौराणिक महत्व को बचाया जा सके।